आयेगा कैसे सत मानवता आज की आवश्यकता। आयेगा कैसे सत मानवता आज की आवश्यकता।
ज़िन्दगी के हर पहलु को समझना मुश्किल है, किसी से उम्मीद रखना फ़िज़ूल है | ज़िन्दगी के हर पहलु को समझना मुश्किल है, किसी से उम्मीद रखना फ़िज़ूल है |
वक़्त के साथ लोग बदलते हैं मगर आज कल वक़्त रेहते गर्लफ्रेंड भी बदलती है पहले जिसे कह वक़्त के साथ लोग बदलते हैं मगर आज कल वक़्त रेहते गर्लफ्रेंड भी बदलती है प...
मीठे पानी से जो मुग्ध कर गया कुछ यूँ कि कितनी ही उम्र कि कितनी ही जिंदगियाँ बीतती गईं हम बदलते रहे द... मीठे पानी से जो मुग्ध कर गया कुछ यूँ कि कितनी ही उम्र कि कितनी ही जिंदगियाँ बीतत...
माँ से लेकर संगिनी हूँ मैं हर रिश्ते में बसी रागिनी हूँ मैं माँ से लेकर संगिनी हूँ मैं हर रिश्ते में बसी रागिनी हूँ मैं
ख्याल अपना-अपना पाने से ज्यादा मज़ा देने में है। ख्याल अपना-अपना पाने से ज्यादा मज़ा देने में है।